जयपुर. प्रदेश सरकार ने 6 साल पुराने अपने फैसले को वापस लेते हुए शीशा, जिंक, खदान पत्थर से लेकर जिप्सम और सीमेंट के माइनिंग और इंडस्ट्रियल कार्य के उपयोग में ली जाने वाली जमीनों पर टैक्स में छूट को वापस ले लिया है। सरकार ने जिप्सम और सीमेंट कार्य से जुड़ी जमीनों पर नई टैक्स की दरें तय की है। 2013 में तत्कालीन गहलोत सरकार ने इंडस्ट्रियल एवं माइनिंग लैंड पर कर छूट की अधिसूचना जारी की थी। सरकार ने अपनी आर्थिक स्थिति ठीक करने के लिए इस छूट को खत्म करने का फैसला किया है। माना जा रहा है कि घाटे से उबरने के लिए राज्य सरकार की अाेर से यह कदम उठाया गया है।
इस तरह रहेंगी नई टैक्स की दरें
- शीशा-जिंक आधारित भूमि: 15 रुपए प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 10 फीसदी में जो भी कम हो
- कोपर आधारित भूमि: 15 रुपए प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 10 फीसदी में जो भी कम हो
- राॅक फास्फेट आधारित भूमि: 210 रुपए प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 10 फीसदी में जो भी कम हो
- सीमेंट या एसएमएस ग्रेड लाइन स्टोन आधारित भूमि: 6 रुपए प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 10 फीसदी में जो भी कम हो
- जिप्सम आधारित भूमि: 3 रुपए प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 10 फीसदी में जो कम हो
- सेंड स्टोन आधारित भूमि: 06 पैसे प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 10 फीसदी में जो कम हो
10 हैक्टेयर या अधिक जमीन की कर दरें
- 10 हैक्टेयर या इससे अधिक और 50 हैक्टेयर से कम भूमि: 55 पैसे प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 5 फीसदी में जो कम हो
- 50 हैक्टेयर या अधिक और 100 हैक्टेयर से कम भूमि: 70 पैसे प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 5 फीसदी में जो कम हो
- 100 हैक्टेयर या इससे अधिक लेकिन 500 हैक्टेयर से कम भूमि: 90 पैसे प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 5 फीसदी में जो कम हो
- 500 हैक्टेयर से बड़ी भूमि: एक रुपया प्रति वर्गमीटर या बाजार मूल्य का 5 फीसदी में जो कम हो